नई दिल्ली। देश में वर्ष 2005 से पहले छपे पांच सौ और एक हजार रूपये के नोटों को बदलने की अंतिम तिथि एक जनवरी है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने कहा है कि 2005 से पहले छपे इन नोटों को अगले वर्ष एक जनवरी तक बदला जा सकता है। केंद्रीय बैंक ने अबतक 52855 करोड़ रुपए मूल्य के 144.66 करोड़ रुपए का कटे-फटे नोटों को बदला है। केंद्रीय बैंक ने कहा कि जाली नोटों को प्रचलन में आने से रोकने के उद्देश्य से 2005 के बाद छापे गए नोटों में सुरक्षा के पर्याप्त उपाय किए गए है जिससे इनका परिचालन जारी रहेगा और ग्राहक किसी भी प्रकार के लेनदेन में इनका इस्तेमाल कर सकते हैं। उसने इस वर्ष २२ जनवरी को ऐसे नोटों को एक अप्रैल से वापस लेने की घोषणा करते हुए कहा था कि लोग बैंक में जाकर इन्हे बदलना शुरू कर दें। वर्ष 2005 से पहले छापे गए नोटो के पीछे उसकी छपाई का वर्ष मुद्रित नहीं किया गया था लेकिन इसके बाद मुद्रित नोटों के निचले हिस्से में यह व्यवस्था की गई थी। आंकडों के अनुसार इस वर्ष जनवरी से अक्टूबर के बीच आरबीआई के क्षेत्रीय कार्यालयों में 100 रुपए 73.2 करोड़ नोट (7320 करोड़ रुपए मूल्य के) पांच सौ रुपए के 51.85 करोड़ नोट (25925 करोड़ रुपए) और एक हजार रूपये के 19.61 करोड़ नोट (19610 करोड़ रुपए ) को बदला गया है।