पटना : असली देशी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन यादव ने महागठबंधन पर निशाना साधते हुए कहा है कि महागठबंधन में शामिल सभी घटक दल के नेता मुख्यमंत्री पद के लिए अभी से ही लार टपका रहे हैं| उन्होंने कहा कि विरासत में मिली राजनीति और जातीय समीकरण को आधार बनाकर महागठबंधन में शामिल सभी नेता वोट की राजनीति करते रहे हैं| जनहित और किसानों के मुद्दों से इनका कोई सरोकार नहीं है| श्री यादव ने कहा कि बिहार की जनता इन नेताओं के नापाक मंसूबो को बखूबी समझ चुकी है| स्वार्थ और सत्ता लोलुपता की बुनियाद पर बने इस महागठबंधन में शामिल नेताओं को आनेवाले विधानसभा चुनाव में जनता पटखनी देगी|
लालू के लाल पर प्रहार करते हुए ललन यादव ने कहा कि पिता लालू प्रसाद से विरासत में मिली राजनीति और जातीय जनसंख्या के आधार पर एक तरफ तेजस्वी यादव खुद को मुख्यमंत्री पद का प्रबल दावेदार मान रहे हैं तो वही दूसरी ओर नौ माह तक मुख्यमंत्री बने रहने का अनुभव गिनाकर जीतन राम मांझी पुनः मुख्यमंत्री बनने का ख्वाब मन में पाले हुए है| इसके अलावा कांग्रेस, रालोसपा प्रमुख उपेन्द्र कुशवाहा और मुकेश सहनी भी अलग-अलग राग अलापने में जुटे हैं| उधर, जन अधिकार पार्टी के नेता पप्पू यादव भी उछल-कूद मचाकर मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार की रेस में शामिल हैं|
सवालिया लहजे में श्री यादव ने कहा कि विपक्ष की भूमिका निभाने में पूरी तरह विफल साबित होनेवाले महागठबंधन के ये तमाम नेता सत्ता सुख पाने का अधूरा ख्वाब मन में पाले हुए हैं| उन्होंने कहा कि बिहार का कई इलाका जब बाढ़-सुखाड़ और जलजमाव से जूझ रहा था, तब ये सभी नेता गुमशुदगी के शिकार थे| लेकिन आज लोहिया जी की पुण्यतिथि पर सियासी रोटी सेकने के लिए अपनी खोखली एकजुटता प्रदर्शित करते दिखे| ललन यादव ने कहा कि बिहार की जनता पूरी तक जागरूक हो चुकी है, जहाँ अब जातीय समीकरण पर नहीं बल्कि काम, विकास और नेतृत्वकर्ता के दूरदर्शी सोच के आधार पर जनता अपने प्रतिनिधि का चयन करेगी| उन्होंने कहा कि चुनाव नजदीक आते ही महाठगबंधन रूपी इस महागठबंधन में भगदड़ तय है|
गौरतलब है कि 2020 में होनेवाले बिहार विधानसभा चुनाव के मद्देनजर महागठबंधन में मुख्यमंत्री पद के दावेदारों की संख्या समय के साथ बढ़ती जा रही है| महागठबंधन में शामिल सभी घटक दल अपने-अपने नेता को मुख्यमंत्री पद के लिए योग्य उम्मीदवार होने का दावा ठोंक रहे हैं| बता दें कि बापू सभागार में लोहिया की 52वीं पुण्यतिथि पर आयोजित कार्यक्रम में महागठबंधन के तमाम बड़े नेताओं ने अपनी एकजुटता प्रदर्शित की| इस कार्यक्रम में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव, रालोसपा प्रमुख उपेंद्र कुशवाहा, शरद यादव, मुकेश साहनी समेत वामपंथी नेता भी मौजूद दिखे| लेकिन सबसे बड़ा सवाल यह है कि मुख्यमंत्री बनने की मन में चाहत रखनेवाले ये तमाम नेता वाकई चुनाव के वक्त एकजुट दिखेंगे?