सम्पूर्ण बिहार में परिवर्तन की लहर जोरो पर, जंगलराज बनाम अमंगलराज से उबरना चाहती है जनता : ललन

रिपोर्ट: शिलनिधि

पटना : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा बिहार के हर गांव में ऑप्टिकल फाइबर द्वारा इंटरनेट सुविधा की शुरुआत किये जाने पर सुपर गठबंधन के संयोजक ललन यादव ने सवाल खड़ा करते हुए एनडीए नेताओं पर निशाना साधा है| उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण काल में हुए लॉकडाउन के दौरान बिहार की गरीब जनता को पेट की आग बुझाने के लिए दो जून की रोटी देने में अक्षम डबल इंजन की सरकार आज उन तक इन्टरनेट की सुविधा पहुंचाने की बात कर बिहार की गरीब जनता का मजाक उड़ा रही है| यह काफी शर्मनाक एवं दुर्भाग्यपूर्ण है| श्री यादव ने कहा कि चुनावी लाभ लेने के लिए एनडीए नेता अब ख्याली पुलाव पकाने में लगे हुए हैं| लेकिन जनता इस बार झांसे में नहीं आएगी|

उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से 14,260 करोड़ रूपये की लागत से 350 कि0मी0 लम्बी 9 राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं का शिलान्यास किया। बिहार के हर गांव में ऑप्टिकल फाइबर द्वारा इंटरनेट सुविधा की शुरुआत होने से मार्च 2021 तक बिहार के सभी 45,945 गांवों को इंटरनेट सुविधा मिलेगी। ‘भारत नेट’ ऑप्टिकल फाइबर से हर गांव को जोड़ा जाएगा। 14,260 करोड़ रुपये की लागत से 350 किलोमीटर लंबी 9 राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं के शिलान्यास के अंतर्गत फोरलेन बख्तियारपुर -रजौली सड़क (पैकेज-2), फोरलेन बख्तियारपुर-रजौली सड़क (पैकेज -3), फोरलेन आरा-परारिया सड़क फोरलेन परारिया-मोहनिया सड़क, फोरलेन नरेनपुर-पूर्णिया सड़क, 6-लेन रामनगर-कन्हौली (पटना रिंग रोड ) सड़क, महात्मा गांधी सेतु के समानांतर नए फोरलेन पुल का निर्माण, कोसी नदी पर नए फोरलेन पुल का निर्माण एवं गंगा नदी पर विक्रमशिला सेतु के समानांतर नए फोरलेन पुल का निर्माण की योजनाएं शामिल हैं।

ललन यादव ने सवालिया लहजे में कहा कि बिहार की जनता को ‘चुनावी लोलीपॉप’ देने की बजाय एनडीए नेता बिहार की जनता को यह बतायें कि पिछले 15 सालों में पलायन क्यों बढ़ता रहा? डेढ़ दशक में युवाओं के लिए रोजगार का सृजन क्यों नही हुआ? कृषि रोड मैप बनने के बाद भी बिहार के किसानों की माली हालत क्यों दयनीय होती गयी? डबल इंजन की सरकार होने के बावजूद लॉकडाउन पीरियड में सैकड़ो किलोमीटर दूर से पैदल चलकर बिहार पहुंचने के लिए लोग क्यों विवश हुए? कोरोना संकट में नीतीश कुमार जनता से तीन माह तक क्यों दूर रहें? कोरोना संक्रमण के कारण सरकारी अस्पतालों में इलाज के अभाव में गरीब जनता की सांसों की डोर टूटती रही, सरकारी मदद के लिए परिजन बिलखते रहे, तब एनडीए नेताओं ने बिहार के लोगों की सुधि क्यों नहीं ली? ऐसे अनगिनत सवाल जनता के जेहन में कौंध रहा है जिसका जबाब एनडीए नेताओं के साथ-साथ विपक्षी पार्टियों को भी देना होगा| श्री यादव ने कहा कि संकट काल में अपनी भूमिका का निर्वहन करने में सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों पूरी तरह से नकाम रहें| जनता इन्हें करारा जबाब देने के लिए तैयार बैठी है| उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण को ध्यान में रखते हुए पूरे बिहार में सुपर गठबंधन के नेताओं का जनसंपर्क अभियान जारी है| 15 साल बनाम 15 साल के कार्यकाल को जनता जंगलराज बनाम अमंगल राज के रूप में झेल चुकी है जिससे उबरना चाहती है| सम्पूर्ण बिहार में परिवर्तन की लहर जोरो पर है और अबकी बार, सुपर गठबंधन की सरकार बनाने का जनता ने मन बना लिया है|


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