जन वेदना/जन क्रांति मार्च, बिहार की जनता को गुमराह करने की एक नाकाम कोशिश: ललन यादव

रिपोर्ट: रमेश पाण्डेय

पटना : राजधानी पटना की सड़कों पर सत्ता पाने की छटपटाहट आज साफ़ तौर पर दिखी| स्वार्थ और सत्ता की राजनीति करनेवाले संवेदनहीन लोग पटना की सड़कों पर प्रदर्शन कर आवागमन को पूरी तरह से बाधित कर दिया| इसका खामियाजा आमलोगों को ही भुगतना पड़ा| असली देशी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन यादव ने यह आरोप लगाते हुए कहा है कि जन वेदना और जन क्रांति मार्च निकालनेवाले लोगों को जनता ने जब मौक़ा दिया तो वे आम-आवाम को भूलकर सत्ताभोग करते रहे| अब जबकि बिहार विधानसभा का चुनाव करीब है तो ये जन वेदना और जन क्रांति मार्च निकालकर बिहार की जनता को एक बार फिर से गुमराह करने में अभी से ही जुट गये हैं| उन्होंने कहा कि जन समस्याओं और जनता से दूरी बनाये रखनेवाले लोग चुनावी मौसम में जन वेदना और जन क्रांति मार्च निकालकर घड़ियाली आंसू बहाने में लगे हैं, लेकिन जनता इनके चाल-चरित्र और चेहरे से पूरी तरह वाकिफ हो चुकी है और अब इनके झांसे में नहीं आनेवाली|

गौरतलब है कि एक तरफ प्रदेश में भ्रष्टाचार, कानून व्यवस्था के मुद्दे को लेकर कांग्रेस ने पटना में जन वेदना मार्च निकाला तो वही दूसरी ओर जन अधिकार पार्टी के कार्यकर्ता बढ़ते अपराध, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार के विरोध में जन क्रांति मार्च के जरिये बिहार और केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ जमकर प्रदर्शन किया|

ललन यादव ने कहा कि बिहार की जनता को एक नये विकल्प की तलाश है जो अपनी दूरदर्शी सोच और विकासात्मक नजरिये से इस प्रदेश को आगे बढ़ाने में कामयाब होगा| युवा पीढ़ी के लोगों को राजनीति में आने का आह्वान करते हुए  नसीहत भरे लहजे में श्री यादव ने कहा कि बुजुर्ग नेताओं को राजनीति से सन्यास ले लेना चाहिए ताकि नयी पीढ़ी के लोगों को राजनीति में आने का मौक़ा मिल सके| इस बदले हुए हालात में युवा और ऊर्जावान साथी ही अपनी सृजनात्मक सोच से बिहार को नयी दिशा देकर यहाँ के लोगों का जीवन स्तर बेहतर बना सकते हैं| उन्होंने कहा कि सत्तासीन और सत्ता का स्वाद पा चुके नेताओं की नौटंकी और संवेदनहीन पॉलिटिशियन के घड़ियाली आंसू से इस बिहार का दशा और दिशा नहीं बदलेगा|


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